खबरें टी वी : सावित्री ने अपने निश्चल हट और पति प्रेम के वजह से यमराज से लौटाए थे अपने पति के प्राण…….. जानिए पूरी खबर
सावित्री एवं सत्यवान के कथाओं पर आधारित, सावित्री ने अपने निश्चल हट और पति प्रेम के वजह से यमराज से लौटाए थे अपने पति के प्राण..
जिले में सुहागिन महिलाओं ने धूमधाम से किया वट सावित्री पूजा….
खबरें टी वी : 9334598481 : ब्यूरो टीम के साथ रूपेश कुमार गोल्डन की खास रिपोर्ट : सुहागिन महिलाएं आज अपनी सुहाग की लम्बी आयु के लिए वट सावित्री का पूजा कर रही है। मान्यता है कि सावित्री अपने मृत पति को वट बृक्ष के नीचे तपस्या करके यमराज से अपने पति के जीवन को वापस पाया था। तभी से सुहागिन महिलाएं आज के दिन वट वृक्ष की पूजा करके ब्रत रखती है।
वटवृक्ष के पूरे 108 बार फेरी लगाकर कच्चे धागे के साथ यह भगवान से प्रार्थना एवं विनती करती है कि उसके पति की आयु लंबी हो तथा परिवार के सभी लोग समृद्ध हो , फेरे के उपरांत सुहागिन महिलाएं अपने बालों में वटवृक्ष के पत्ते को माथे में सजाती हैं और पंखे के द्वारा बट वृक्ष को हवा लगाती हैं जो की पूजा करने के बाद अपने पति को उसी पंखे से हवा खिलाती है ,पूजा के बाद अपने पति को प्रसाद खिलाकर जल ग्रहण करती है।
यह प्रचलन कई सदियों से चली आ रही है हालांकि अगर हिंदू समाज के पूजा पाठ की बात की जाए तो वह हर लिहाज में हमारे जीवन के उपयोग में आने वाले हर एक वस्तुओं की पूजा अर्चना की जाती है एवं उसे संरक्षित करने की प्रेरणा देती है ।
हर वह वृक्ष जो हमारे स्वस्थ जीवन की कामना करता हूं जैसे तुलसी जो कि घर के आंगन में होती है पीपल , वटवृक्ष जैसे कई वृक्ष ऐसे हैं जो कि वातावरण को शुद्ध करने में सहायक है और इसी वजह से हमारे पूर्वजों ने इसे सहेजने के लिए ऐसे पूजा पाठ करने के नियम बनाए थे । ताकि ऐसे पेड़ पौधों को कोई काट ना पाए और हमारे धरातल पर वातावरण सामान्य रहे।