ख़बरे टी वी – नालंदा के राजगीर में जू सफारी का हुआ उद्घाटन, जब बब्बर शेर के झुंड ने रोक लिया रास्ता तो फिर क्या हुआ……. जानिए पूरी खबर
जब बिहार के सड़कों खुले में बब्बर शेर घूमते हैं तो फिर क्या होता है।
Khabre Tv – 9334598481 – ब्यूरो टीम के साथ रूपेश कुमार गोल्डन की खास रिपोर्ट – आज बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पहले तो जू सफारी का विधिवत उद्घाटन करते हुए फीता काटा और उसके बाद पूरे परिसर में भ्रमण कर जंगली जानवरों को देखा,
साथ ही उन्होंने इस जू सफारी के साथ राजगीर में कई तरह के पर्यटन के बने आयाम को मीडिया से साझा किया।
साथ ही इस जू सफारी के निर्माण के समय यहां पर जानवरों और विकास के संबंध में भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से बात की थी,
और उन्होंने प्रधानमंत्री को धन्यवाद देते हुए कहा कि उन्होंने इस जू सफारी बनने से लेकर जानवरों को जू में भेजने में उनकी काफी मदद की है।
मैं आपको बता दूं कि इस जू सफारी में सफर करते हुए लोगों को काफी आनंद अनुभव होगा, जब शेर आप की सवारी देखकर और आप को रोक ले ,
उस वक्त आप के अंदर जो कशमकश पैदा होगी,
इस बात का एक नजारा अलग होगा जो हमारे कैमरे में कैद है।
https://youtube.com/watch?v=WjonfmU-4D4&feature=share
पूरे सस्पेंस न्यूज़ का वीडियो देखने के लिए ऊपर दिए गए लिंक को दबाए……. क्या होता है जब शेर का झुंड रास्ता रोक लेते हैं…… कहां दिखेगा हिरन, तो कहां दिख रहा है बाघ , साथ ही कहां पर रोकता है शेरों का झुंड……
देशी-विदेशी सैलानियों को एक और बड़ा तोहफा मिला है आज। 191.12 हेक्टेयर में फैला राजगीर जू सफारी बनकर तैयार हो गया है। यह जू सफारी सैलानियों के लिए रोमांच से भरा होगा। इसमें दर्शक शेर और बाघ को खुले में विचरण करते और दहाड़ मारते हुए बंद गाड़ी में बैठकर देख सकेंगे। बता दें कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का जू सफारी पार्क ड्रीम प्रोजेक्ट है। जू सफारी पार्क के निर्माण कार्य के हर गतिविधियों पर उनकी नजर रहती थी। बंगाल और गुजरात जू से भी शेर और बाघ लाए गए हैं।
जू सफारी पार्क को स्वर्णगिरी पर्वत एवं वैभार गिरी पर्वत के बीच की घाटी वाले हिस्से में विकसित किया गया है। इसमें 72 हेक्टेयर क्षेत्रफल का पुराना मृग विहार भी समाहित है। जू सफारी में विचरण कर रहे जानवरों को दूर से देखने के लिए वैभवगिरी पर्वत पर माइक्रो टेलीस्कोप लगाए जाएंगे। वहीं प्रवेश द्वार पर टिकट काउंटर, ओरिएंटेशन सेंटर, इंटरप्रेशन सेंटर, ऑडिटोरियम एवं एम्फीथियेटर, बस पड़ाव तथा प्रतीक्षालय और रेस्टोरेंट की सुविधा बहाल की गई है। प्रबंधन जोन में एडमिनिस्ट्रेटिव ब्लॉक, अस्पताल व लघु अतिथिगृह का निर्माण हुआ है।
जो बिल्कुल नेचुरल बिल्कुल इको फ्रेंडली बनाया गया है। इसमें निम्न वन्य जन्तुओं के लिए घेरान वाले पांच जोन (केज) बनाए गए हैं। जिनमें बाघ, शेर, तेन्दुआ, भालू, हिरण, (चीता एवं सांभर), चिडियों के लिए एक एवियरी तथा तितलियों का एक पार्क है। हर जोन में 30 फीट ऊंची ग्रिल का घेराव है। हर जोन में डबल इंट्री गेट और पांच रिटायरिंग रूम हैं। पर्यटकों के लिए सारी सुविधाएं बहाल की गई है।
राजगीर जू सफारी में जानवरों के इलाज के लिए उच्च स्तरीय अस्पताल भी है। अस्पताल में डॉक्टर बहाल कर दिए गए हैं। यहां रहने वाले जानवरों का उच्च स्तरीय इलाज होगा। जानवरों की मृत्यु होने पर यहां पोस्टमार्टम तक की व्यवस्था है। साथ ही यहां निदेशक, उप निदेशक, फोरेस्ट ऑफिसर, वन कर्मियों समेत यहां नियुक्त सभी लोगों के लिए आवास का निर्माण कार्य एवं टिकट काउंटर, पर्यटकों को बैठने के लिए स्थल का निर्माण कार्य किया गया है। जंगल या प्राकृतिक सौंदर्य से कोई छेड़छाड़ नहीं किया गया है। जू सफारी पार्क में पार्क में 7 शेर, 2 वाघ, 2 भालू और काकड़ प्रजाती के 200 से अधिक हिरन, तेंदुआ, सांभर, तेंदुआ सहित अन्य जानवर रहेगें।
बताते चलें कि जू सफारी पार्क के निर्माण कार्य पर 177 करोड रुपया खर्च किया गया है। वन्य प्राणी स्वर्ण गिरी पर्वत एवं व्यवहार गिरी पर्वत के बीच की घाटी वाले हिस्से में 191.12 हेक्टेयर झेत्रफल में विकसित किया गया है। इसमे 72 हेक्टेयर क्षेत्रफल का पुराना मृग विहार भी समाहित है। सफारी पार्क का डिजाइनिंग छतीसगढ़ की कंपनी एलएनसी द्वारा किया गया है। बताते चलें कि जू सफारी पार्क को एक अलग रुप दिया गया है। राजगीर में अधिक गर्मी पड़ती है।
गर्मी के मौसम में यहां आने वाले सैलानी रात के समय सफारी भ्रमण को अधिक पसंद करेगे एवं मांसाहारी प्राणियों को अधिक सक्रिय अवस्था में देख सकेंगे। नेचर सफारी पार्क राजगीर की पंच पहाडियों में मनोरम दृश्य के अतिरिक्त विविध प्रकार के वनों वनस्पतियों एवं वन्य प्राणियों की विविधता में काफी समृद्ध है। वन्य प्राणियों पक्षियों एवं तितलियों को उनके अपने प्राकृतिक अधिवास में उन्मुक्त क्रियाशील देखने की अनुभूति अपने आपमें एक अनुपम अनुभव मिलेगा।
जू सफारी पार्क 191.12 हेक्टेयर झेत्र में होगी। जिसमें 147.20 हेक्टेयर में सफारी जोन होगा। इस सफारी जोन अंतर्गत 65.62 हेक्टेयर में शाकाहारी जन्तुओं का सफारी, 20.60 हेक्टेयर में भालू सफारी, 20.63 हेक्टेयर मे चीता सफारी, 50.50 हेक्टेयर में वाघ सफारी, 20.54 हेक्टेयर में शेर सफारी, 1.70 हेक्टेयर में पार्किंग जोन,
3.30 हेक्टेयर रिसेप्शन एवं ओरिएन्टेसन जोन, 10.75 हेक्टेयर में वाटर वार्ड एवियरी जोन, 8 हेक्टेयर में मैनेजमेंट जोन एवं 20 हेक्टेयर में खुला वातावरण रहेगा। जू सफारी पार्क का शिलान्यास 27 फरवरी वर्ष 2017 को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने किया था और आज उद्घाटन भी उन्हीं के हाथों से हुआ।